World Day Against Child Labour 2020: वर्तमान थीम, इतिहास और महत्व

Jun 12, 2020, 10:58 IST

World Day Against Child Labour 2020: इसे एंटी चाइल्ड लेबर डे के रूप में भी जाना जाता है. यह बाल श्रम पर संकट के प्रभाव को उजागर करने के लिए हर साल 12 जून को मनाया जाता है. आइये इस लेख के माध्यम से विश्व बाल श्रम निषेध दिवस, 2020 का थीम, इतिहास और महत्व के बारे में विस्तार से अध्ययन करते हैं.

World Day Against Child Labour
World Day Against Child Labour

World Day Against Child Labour 2020: COVID-19 महामारी के कारण, इस वर्ष विश्व बाल श्रम निषेध दिवस आभासी अभियान (virtual campaign) के माध्यम से मनाया जा रहा है जो कि ग्लोबल मार्च अगेंस्ट चाइल्ड लेबर (Global March Against Child Labour) और इंटरनेशनल पार्टनरशिप फॉर कोऑपरेशन इन चाइल्ड लेबर इन एग्रीकल्चर (the International Partnership for Cooperation on Child Labour in Agriculture, IPCCLA) के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया जाएगा.

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस 2002 में अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन द्वारा शुरू किया गया था. यह दिन एक अवसर प्रदान करता है और बच्चों को एक गरिमापूर्ण जीवन जीने के लिए और दुनिया भर में बाल श्रम के खिलाफ लड़ने के लिए और ऐसा उनके अनुरूप वातावरण उत्पन्न करने की आवश्यकता का आग्रह करता है.

गरीबी बाल श्रम का एक मुख्य कारण है, जिसके कारण बच्चे अपने स्कूल को छोड़ने के लिए मजबूर होते हैं और अपनी आजीविका के लिए अपने माता-पिता का समर्थन करने के लिए न्यूनतम नौकरियों का विकल्प चुनते हैं. इसके अलावा, कुछ संगठित अपराध रैकेट द्वारा बाल श्रम करने पर मजबूर किया जाता है.

यह दिवस न केवल बच्चों के विकास और संवर्धन के लिए आवश्यक उपयुक्त वातावरण पर ध्यान केंद्रित करता है, बल्कि बाल श्रम के खिलाफ अभियान में भाग लेने के लिए सरकारों, नागरिक समाज, स्कूलों, युवाओं, महिलाओं के समूहों और मीडिया से समर्थन प्राप्त करने का अवसर भी प्रदान करता है.

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस 2020 का थीम

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस 2020 का थीम है "Protect children from child labour, now more than ever". COVID-19 महामारी के कारण, परिणामस्वरूप आर्थिक और श्रम बाजार ने लोगों और उनके आजीविका पर बहुत प्रभाव डाला है. दुर्भाग्य से, बच्चे अक्सर सबसे पहले पीड़ित होते हैं. यह संकट लाखों कमजोर बच्चों को भी बाल श्रम में धकेल सकता है.

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस 2019 का थीम था " “Children shouldn’t work in fields, but on dreams”. विषय दुनिया भर में कृषि क्षेत्र में काम करने वाले बच्चों के विकास पर केंद्रित है. लगभग 152 मिलियन बच्चे अभी भी बाल श्रम में हैं. और यह कहा जाता है कि लगभग हर क्षेत्र में बाल श्रम मौजूद है, लेकिन हर दस में से सात कृषि में है. इंटरनेशनल लेबर ऑर्गनाइजेशन (ILO) ने 2019 में 100 साल का जश्न मनाया ताकि विश्व बाल श्रम निषेध दिवस के जरिए बच्चों के लिए सामाजिक न्याय और सभ्य काम को बढ़ावा दिया जा सके.

विश्व पर्यावरण दिवस 2020 का थीम, इतिहास और महत्व

आपको बता दें कि अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) ने बाल श्रम के खिलाफ ध्यान केंद्रित करने और इसे खत्म करने के लिए आवश्यक कार्रवाई या कार्य के लिए 2002 में विश्व बाल श्रम निषेध दिवस का शुभारंभ किया था. यह संयुक्त राष्ट्र सतत विकास लक्ष्य 8.7 की ओर भी अग्रसर है, जो अंतर्राष्ट्रीय समुदाय द्वारा 2025 तक बाल श्रम को समाप्त करने के लिए निर्धारित किया गया था.

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस 2018 का थीम था "Generation safe and Healthy".

बाल श्रम निषेध दिवस 2017 का थीम था "In conflicts and disasters, protect children from child labour”.

बाल श्रम निषेध दिवस 2016 का थीम था “End child labour in supply chains – It’s everyone’s business!”

बाल श्रम निषेध दिवस 2015 का थीम था "NO to child labour – YES to quality education!”.

 विश्व बाल श्रम निषेध दिवस का इतिहास

1919 में, सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने और एक अंतर्राष्ट्रीय श्रम मानक स्थापित करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) की स्थापना की गई थी. आपको बता दें कि ILO के 187 सदस्य देश हैं. किंगडम ऑफ़ टोंगा, एक दक्षिण प्रशांत द्वीप राष्ट्र, अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (ILO) का 187वां सदस्य राज्य बन गया था. तब से, ILO ने दुनिया भर में श्रम की स्थितियों में सुधार करने के लिए कई सम्मेलनों को पारित किया है. इतना ही नहीं, बल्कि मजदूरी, काम के घंटे, अनुकूल वातावरण इत्यादि मामलों पर भी दिशा-निर्देश प्रदान करता है.

1973 में, ILO सम्मेलन संख्या 138 को अपनाया गया और रोजगार के लिए न्यूनतम आयु पर ध्यान केंद्रित किया गया. इसका उद्देश्य सदस्य राज्यों को रोजगार की न्यूनतम आयु बढ़ाने और बाल श्रम को समाप्त करना है. 1999 में, ILO सम्मेलन संख्या 182 को अपनाया गया और इसे "Worst Forms of Child Labour Convention" के रूप में भी जाना जाता था. इसका उद्देश्य बाल श्रम के सबसे खराब रूप को खत्म करने के लिए आवश्यक और तत्काल कार्रवाई करना है.

विश्व बाल श्रम निषेध दिवस का महत्व

यह दिन मुख्य रूप से बच्चों के विकास पर केंद्रित है और यह बच्चों के लिए शिक्षा और गरिमापूर्ण जीवन के अधिकार की रक्षा करता है. इसलिए, संयुक्त राष्ट्र द्वारा प्रचारित 2030 तक सतत विकास लक्ष्यों (SDGs) को प्राप्त करना महत्वपूर्ण है. बाल श्रम पर अंकुश लगाने के लिए कई संगठन, आईएलओ इत्यादि प्रयास कर रहे हैं. लेकिन हमें भी जिम्मेदार होना चाहिए और बाल श्रम को खत्म करने में मदद करने के लिए अपने कर्तव्यों का पालन करना चाहिए. यह सही ढंग से कहा जाता है कि बाल श्रम से निकलने वाले बच्चे को उसकी क्षमता और आत्म-मूल्य पता चलता है. इसमें कोई संदेह नहीं है कि ऐसे बच्चे देश और दुनिया के आर्थिक और सामाजिक विकास में भी योगदान देंगे. बच्चे देश का भविष्य हैं.

Shikha Goyal is a journalist and a content writer with 9+ years of experience. She is a Science Graduate with Post Graduate degrees in Mathematics and Mass Communication & Journalism. She has previously taught in an IAS coaching institute and was also an editor in the publishing industry. At jagranjosh.com, she creates digital content on General Knowledge. She can be reached at shikha.goyal@jagrannewmedia.com
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